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अगर सांवला पैदा हुआ है बच्चा, तो आज़माएं ये टिप्स..!!
अक्सर बच्चे जब जन्म लेते हैं, तो उनका रंग दबा होता है या गोरा होता है। इसलिए आज जहां आपको जन्मे शिशु की रंगत निखारने का अनोखा तरीका बताने जा रहे है जो न सिर्फ शिशु के लिए लाभ दयाक होगा और उन्हें किसी प्रकार का इन्फेक्शन भी नहीं होगा।
त्वचा का रंग सामान्यत आनुवंशिक गुणों पर निर्भर करता है। त्वचा को रंग केलामोसाइटिस नामक कोशिकाओं द्वारा मिलता है। यह कोशिकाएं मेलानिन नामक पदार्थ का निर्माण करती हैं जो त्वचा के रंग के लिए उत्तरदायी हैं। रंग देने वाली इन कोशिशकाओं पर बाहरी प्रभाव पडने से भी प्राय: बदलाव आता है। यह कोशिकाएं धूप से प्रभावित होती हैं जिससे इनकी सक्रियता बढ जाती है।
लेकिन सौंदर्य विशेषज्ञों को कहना है कि सांवला रंग कुरूपता या ईश्वर का अभिशाप नहीं है। किसी की पहचान उसके रूप से नहीं, गुणों द्वारा होती है। फिल्मी दुनिया की अनेक हीरोइनें सांवल होने के बावजूद सुंदर, आकर्षक और काफी लोकप्रिय हैं। इसलिए बच्चा सावला होने पर मन में हीनभावना ना लाएं, बल्कि बच्चे की त्वचा की विशेष रूप से देखभाल करें। साथ ही साथ शारीरिक स्वास्थ्य एवं सुडौलता पर भी ध्यान दें।
मालिश करे गर्म तेल से
वैसे तो बच्चों को तेल की मालिश करी ही जाती है, लेकिन अगर बच्चे का रंग दबा हुआ है, तो बच्चे को गरम तेल की मालिश करें इससे बच्चे का रंग साफ़ हो जाएगा।
बॉडी पैक
जन्मे बच्चे की त्वचा बहुत नाजुक होती है, इसीलिए बच्चे के शरीर पर किस्से हार्ड बॉडी पैक का इस्तेमाल न करें, बल्कि हल्दी चन्दन और दूध का मिलाएं और उससे बच्चे के शरीर पर स्क्रब करें।
बॉडी स्क्रब
चाहे तो आप बच्चे के मुताबिक घर में ही उसके लिए बॉडी स्क्रब बना सकते है, घर में हल्दी, चन्दन, गुलाबजल और बेसन का लेप बनाएं और बच्चे के शरीर पर रगड़े, ये लेप बच्चे की त्वचा के लिए नुकसान दायक नहीं है।
बॉडी लोशन
बच्चे की नाजुक त्वचा के कारण बॉडी लोाशन देख कर ही लें और स्किन ड्राई होने पर बच्चे को बॉडी लोाशन लगाएं।
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