mustard-seed-benefits
राई। भारतीय मसालों में सबसे नन्हा मसाला। इसकी गिनती सरसों की जाति में होती है। इसका दाना छोटा व काला होता है। इसके बारें में कहावत है कि राई का पहाड़ मत कीजिए यानी छोटी सी बात का बतंगड़ ना बनाएं… यह छोटा सा दाना अपने आप में सेहत के राज छुपाए हैं आइए जानें इसके अनेक गुण : –
#राई का प्रमुख गुण पाचक होता है।
#पेट के कीड़े इसका पानी पीने से मर जाते हैं।
#हैजे में राई को पीस कर पेट पर लेप करने से उदरशूल व मरोड़ में आराम मिलता है।
#इसकी पुल्टिस बना कर दर्द वाली जगह पर सेंक किया जाए तो तुरंत राहत मिलती है।
#राई के लेप से सूजन कम होती है।
#गर्म पानी में राई डालने से राई फूल जाती है। उसके गुण पानी में पहुंच जाते हैं। इस पानी को गुनगुना सहने योग्य कर किसी टब में कमर तक भर कर बैठा जाए तो सभी प्रकार के यौन रोग प्रदर, प्रमेह आदि में बेहतर सुधार आता है।
#इसे पीस कर शहद में मिलाकर सूंघने से जुकाम में आराम मिलता है।
#मिर्गी-मूर्च्छा में मात्र राई पीस कर सूंघाने से फायदा होता है।
#राई के तेल में बारीक नमक मिलाकर मंजन करने से पायरिया रोग का नाश होता है।
#राई के दानों से नजर उतारी जाती है। अगर हम इस अंधविश्वास को ना भी मानें तो भी राई के दाने पास में रखने से कई बीमारियों से बचा जा सकता है।
#चेतावनी : राई के अधिक प्रयोग से उल्टी हो सकती है अत: राई का सीमित मात्रा में प्रयोग करना चाहिए।
कृपया प्रयोग करनेका मात्रा विधी और क्या खाना क्या परहेज करना वो भी वतादिजिएगा
Can someone explain the difference between Rai and Sarson ke beej. Both are available separately in market.